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Sunday, March 8, 2015

विश्व महिला दिवस पर विशेष: आखिर क्यों होते हैं रेप?

अक्सर इस देश में चर्चा होती है कि रेप क्यों होते है। आज इसी सवाल के जबाव से मैं आपको रूबरू करवाना चाहता हूँ। हो सकता है आपको मेरे शब्द पसन्द ना आये लेकिन मैं उसी भाषा का इस्तेमाल करता हूँ जो आम तौर पर प्रचलित होते है।
दोस्तों, एक वेजाइना और पेनिस शायद इन्ही के होने से रेप होता है। लेकिन इनके कारण रेप नहीं हो सकता क्योंकि ये चीजे तो जानवरों के पास भी होती है लेकिन किसी बकरी,कुतिया या गाय का रेप नहीं होता जबकि उनके पास तो 2 से अधिक स्तन होते है। मेरा मानना है कि स्तन रेप का कारण नहीं ही सकते क्योंकि जिन छोटी छोटी बच्चियों के स्तन नहीं होते उनके साथ भी अक्सर रेप कि घटनाएं घटित होती है।
अब मैं सोचता हूँ कि फिर तो इस वेजाइना के कारण ही रेप होते होंगे। लेकिन ऐसा भी नहीं है क्योंकि child abuse के बहुत सेे केस हैं जहाँ छोटे लड़कों (babyboy) का भी रेप होता है। वहाँ कोई वेजाइना नहीं होती है लेकिन फिर छोटे लड़कोंके साथ यौन शोषण की काफी शर्मनाक घटनाएं होती है।
अब मैं सोचता हूँ कि रेप पेनिस के कारण होते होंगे। लेकिन कई हॉस्टलस, सेना के कैम्पों और जेलों के कितने किस्से सुने है जहाँ लड़को के रेप होते है। मतलब साफहै कि जिनके पास पेनिसहै उनका भी रेप होता है। अगर रेप की शर्मनाक घटनाएं सिर्फ पेनिस के कारण होती तो गैंग रेप के बाद लड़की केशरीरमें सरिये, कंकर, कांच(दिल्ली/रोहतक की घटना और ऐसी हज़ारो न रिपोर्ट होने वाली घटनाएं)क्यों डालते?
आखिर रिजल्ट यही निकलता है किरेप की घटनाएं पेनिस,वेजाइना और स्तनों (शरीरकीसंरचना)के कारण नहीं होती है।
फिर आखिर रेप होते क्यों है? अब लोग सोच रहे होंगे कि लड़कियों के पहनावे के कारण रेप की घटनाएं होती है। अगर ऐसा होता तो क्या कभी बुर्के वाली, सलवार सूट वाली या साड़ी वाली का रेप नहीं हुआ। छोटे कपड़ों की वजह से ही रेप होते तो पश्चिमी देशों में हर मिनटमें 10-20 रेप होते। अगर तुम्हारी ये बात हम मान भी लें कि कपड़े ही असली वजह है तो क्या कभी तुम अपनी माँ या बहन को कम कपड़ों में देख लो तो उनका भी रेप कर दोगे क्या??? नहीं करोगे ना.... मतलब साफ़है कि लड़कियों के तन ढकने मात्र से भीरेप की घटनाएं नहीं रुकेंगी... जो के कपड़ों को दोष देते है वो सबसे बड़े बेवकूफ है।
जो लोग मोबाइल, टीवी, इंटरनेट और सनी लियोन को इन रेप की घटनाओं के लिए जिम्मेदार मानते है.... उनकी सोच भी बहुत गलत है क्योंकि सबसे ज्यादा इनका उपयोग विदेशों में होता है फिर भी वहां बहुत कम रेप होते है।
नशे को भी दोष देना गलतहै क्योंकि नशा रेप कीवजह नहीं है। मैं भी नशा करता हूँ और मेरी काफी लड़कियां भी नशा करती है लेकिन हमने कभी ऐसी घटनाओं को अंजाम नहीं दिया।
अब मैं अपने जबाब पर आताहूँ जिसकी वजह से रेप होते है। रेप उस मानसिकता के कारण होते है जो लड़की की शर्ट के दोबटनोंके बीचसे स्तन झाँकने कीकोशिश करते है। जो लोग अभी भीसानिया मिर्ज़ा केखेल की नहीं बल्कि उनकी छोटी स्कर्ट की बातज्यादा करते हैं। जोसूट के कोनेसे दिख रही ब्रा की स्ट्रिप को घूरते रहते है। जो औरत के फिगरके साइज़ का अनुमान लगाते है। जो लड़की की कमर का अंदाजा लगाते है। जो लड़कियों के हिप्स कोपीछेसे निहारते है। जो स्कर्ट पहनी लड़की की टाँगे घूरते रहते है और सोचतेहै कब थोड़ी सी स्कर्ट खिसके कब पेंटी का कलर देख सके। जोपार्क में बैठे कपल्स को देखकर सोचते है काश ये लड़की मुझे मिलजाये तोपतानहीं मैं ये कर दूँ मैं वोकर दूँ..... वो मानसिकता जब एक दोस्तदूसरे से कहता है - क्या तू अपनीगर्ल फ्रेंड के साथरात मेंरुका और तूने कुछ नहीं किया, नामर्द है क्या.?
रेप सिर्फ गन्दी मानसिकता के कारणहोता है। जहाँ औरत कोसिर्फ इस्तेमाल का सामान समझाजाता है।
रेप, यौनशौषणऔर छेड़खानियों की घटनाएं तभी रुकेगी जब हम हमारी मानसिकता चेंज करेंगे। जब हम सबकोअपनीबहन, माँ,बुआ और बेटी की नजर से देखेंगे। जब हम अपने बच्चोंकोसंस्कार देंगे। तब ही ऐसी घटनाओं से निजात पाई जा सकती है वरनानहीं।
©लेखक:- गीता यादव और अर्जुन महर
(मॉडरेटर की तरफ से: विचार लेखकों के अपने निजी हैं। कीवर्ड्स पर विवाद की जरूरत नही। ये वो कीवर्ड्स हैं, जिनकी सहायता से लोग अश्लील कॉन्टेंट इंटरनेट पर ढूंढते हैं। इसी बहाने वे यहां आये और पूरी स्टोरी पढ़ें, तो शायद मानसिकता में बदलाव हो।)

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